पूर्व बर्दवान :- पूर्व बर्दवान जिले में तृणमूल कांग्रेस (TMC) के भीतर एक बड़ा संगठनात्मक विवाद सामने आया है। ब्लॉक अध्यक्ष द्वारा शीर्ष नेतृत्व की अनुमति के बिना बर्धमान के बैकुंठपुर-1 पंचायत के उप-प्रधान सहित 6 नेताओं को निलंबित (Suspend) करने के मामले में, अब उन्हीं पर कार्रवाई की गई है। जिला टीएमसी अध्यक्ष ने ब्लॉक अध्यक्ष परमेश्वर कोंगार को कारण बताओ (Show Cause) नोटिस जारी किया है।
यह मामला रविवार को बर्धमान के संस्कृति लोक मंच में आयोजित विजया सम्मिलनी कार्यक्रम के दौरान सामने आया। जिला टीएमसी अध्यक्ष रवींद्रनाथ चट्टोपाध्याय ने छह नेताओं के निलंबन पर सवाल उठाया। रवींद्रनाथ चट्टोपाध्याय ने स्पष्ट किया कि पार्टी में किसी के खिलाफ भी अनुशासनात्मक कार्रवाई करने के लिए एक उचित प्रक्रिया का पालन करना होता है। दल के किसी भी सदस्य के खिलाफ कार्रवाई करने से पहले, ब्लॉक स्तर से जिला नेतृत्व को सूचित करना होता है। जिला नेतृत्व इसे राज्य नेतृत्व को बताता है, और फिर राज्य नेतृत्व जो निर्णय लेता है, वही लागू किया जाता है। चट्टोपाध्याय ने दावा किया कि इस मामले में परमेश्वर कोंगार ने इस पूरी प्रक्रिया का पालन नहीं किया, जिसके चलते उन्हें कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है।
इससे पहले शनिवार को बर्धमान-2 ब्लॉक के टीएमसी अध्यक्ष परमेश्वर कोंगार ने उप-प्रधान जयदेव बंद्योपाध्याय और अन्य पर पार्टी अनुशासन तोड़ने का आरोप लगाया था। कोंगार ने कहा था कि ये नेता सोशल मीडिया पर लगातार पार्टी और प्रशासन के खिलाफ झूठा प्रचार कर रहे थे। उन्होंने यह भी आरोप लगाया था कि जयदेव और अन्य पांच नेताओं पर भ्रष्टाचार के आरोप हैं।
वहीं, निलंबित नेताओं में से एक जयदेव बंद्योपाध्याय ने ब्लॉक अध्यक्ष की कार्रवाई पर सवाल उठाया। उन्होंने कहा कि यदि किसी ने पार्टी विरोधी कार्य किया है, तो पार्टी पहले कारण बताओ नोटिस जारी करती है। यही नियम है। जयदेव ने यह सवाल भी उठाया कि एक ब्लॉक अध्यक्ष के पास जिला समिति के सदस्य को सीधे निलंबित करने का अधिकार कैसे हो सकता है। फिलहाल, इस विवाद ने पूर्व बर्धमान टीएमसी की आंतरिक कलह को उजागर कर दिया है, और सबकी निगाहें परमेश्वर कोंगार के जवाब पर टिकी हैं।
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